दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर 19 लेन का बनेगा टोल प्लाजा, काम ने पकड़ी रफ्तार

मेरठ/परतापुर
दिल्ली से मेरठ के सफर को आसान बनाने के लिए एक्सप्रेसवे का कार्य टुकड़ों में रफ्तार पकड़ रहा है। हालांकि, मानसून आने पर कार्य की रफ्तार पर असर पडे़गा। इस समय टोल प्लाजा और सर्विस रोड का निर्माण कार्य तेज गति से चल रहा है। अगले एक सप्ताह से वाहनों को दिल्ली से मेरठ की ओर जाने के लिए चार किमी आगे यूटर्न लेना होगा। वहीं, एक्सप्रेसवे पर टोल प्लाजा 19 लेन का बनाया जा रहा है।
परतापुर में अछरोंडा गांव के पीछे से गुजर रहे एक्सप्रेसवे पर 19 लेन के टोल प्लाजा के लिए टिन शेड का कार्य लगभग पूरा कर लिया गया है। इसमें मेरठ से दिल्ली को जाने के लिए 11 लेन होंगी और दिल्ली से आने वाले वाहनों के लिए 8 लेन होंगी। टोल प्लाजा से लेकर बहादरपुर अंडरपास तक आरसीसी की 800 मीटर रोड बनाने का काम पूरी तेज गति से चल रहा है।
एक्सप्रेसवे की कार्यदायी संस्था जीआर इंफ्रा का कहना है कि मानसून से पहले मिट्टी समतल करने का कार्य प्राथमिकता के साथ पूरा करना है। रोजाना दो से ढाई हजार ट्रकों से मिट्टी डालने के साथ समतल करने का कार्य किया जा रहा है। वहीं, एक्सप्रेसवे के निर्माण कार्य के बीच में आनी वाली एचटी लाइन के टावरों को भी शिफ्ट करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई। बिजली विभाग के अफसरों का कहना है कि एक्सप्रेसवे के कार्य के कारण कुछ दिन के लिए विद्युत आपूर्ति बाधित रहेगी।
शुक्रवार को जीआर इंफ्रा ने वाटर पार्क के सामने गड्ढा खोदकर पाइप लाइन डालने का कार्य शुरू कर दिया है। खुदाई और पाइप लाइन डालने के दौरान रजबहा एक सप्ताह के लिए बंद करना पडे़गा। इसके लिए सिंचाई विभाग के अधिकारियों को भी पत्र लिखा है। जिससे किसानों को होने वाली परेशानी के कारण सिंचाई विभाग पानी की व्यवस्था अन्य किसी साधन से कर सके। रजबहे में पाइप लाइन का कार्य पूरा होने के बाद वाटर पार्क के सामने स्थित कट को बंद कर दिया जाएगा। जिसके बाद दिल्ली से मेरठ आने वाले वाहनों को चार किमी आगे बिग बाइट रेस्तरां के सामने से यूटर्न लेकर वापस परतापुर तिराहे की ओर आना पडे़गा। इससे लोगों को अतिरिक्त दूरी तय करनी पड़ेगी। पहले भी इसी तरह कट बंद कर दिया गया था, लेकिन विरोध के बाद कट खोल दिया गया था।
दुहाई से शताब्दीनगर तक दूसरे चरण में होने वाले रैपिड रेल निर्माण से पहले शताब्दी नगर सेक्टर-एक में कास्टिंग यार्ड बनाया जाना है। यहां मिट्टी समतल करने के बाद बाउंड्री बनाने का काम शुरू कर दिया गया है। शुक्रवार से परतापुर फ्लाईओवर ब्रिज के पास से लेकर कुंडा तक दोनों ओर डामर बिछाने का काम शुरू हो गया है। परतापुर थाने के आसपास वन विभाग व बिजली विभाग की अनुमति न मिलने के कारण पेड़ों का कटान नहीं हो सका। बिजली के खंभे भी विकास कार्य में बाधा बने हुए हैं। इसके अलावा रिठानी में पिलर बनाने का क्रम भी जारी।